पलकों के पीछे कई गहरे राज़ छुपे हैं
ज़िंदगी के ज़िंदा कुछ एहसास छुपे हैं।
अधजगी आँखों के अफ़साने बस इतना समझ लीजिए
ना लिख पाया जिन्हें वो अल्फ़ाज़ छुपे हैं।।
ना लिख पाया जिन्हें वो अल्फ़ाज़ छुपे हैं।।